आजमगढ़ : ऐसे परिवार जिनकी वार्षिक आय ग्रामीण क्षेत्र में 46080 रूपये एवं नगरीय क्षेत्र में रूपये 56460 से अधिक न हो, उन्हें किया जायेगा लाभान्वित
प्रेस नोट
आजमगढ़ 30 अप्रैल– जिला समाज कल्याण अधिकारी ने बताया कि उ0प्र0 अनुसूचित जाति वित्त एवं विकास निगम लि0 द्वारा अनुसूचित जातियों हेतु योजनाएं संचालित है, जिसका मुख्य उद्देश्य अनुसूचित जातियों के आर्थिक स्तर को ऊंचा उठाना एवं उन्हें आत्मनिर्भर बनाना है। संचालित योजनाओं के अन्तर्गत अनुसूचित जाति के ऐसे परिवार जिनकी वार्षिक आय ग्रामीण क्षेत्र में 46080 रूपये एवं नगरीय क्षेत्र में रूपये 56460 से अधिक न हो, उन्हें लाभान्वित किया जाता है। योजना में लाभ प्राप्त करने हेतु ग्रामीण क्षेत्र के अनुसूचित जाति के व्यक्ति अपने विकासखण्ड में कार्यरत ग्राम विकास अधिकारी/ सहायक विकास अधिकारी (स0क0) एवं नगरीय क्षेत्र के व्यक्ति जनपदीय कार्यालय जिला समाज कल्याण अधिकारी (विकास)/पदेन जिला प्रबंधक उ0प्र0 अनुसूचित जाति वित्त एवं विकास निगम लि0 श्रम विभाग के बगल, कस्तुरी भवन, राहुल नगर (मड़या) में सहायक प्रबन्धक से सम्पर्क कर लाभ प्राप्त कर सकते हैं। योजनाओं में लाभ प्राप्त करने हेतु सम्पर्क सूत्र -6307237951, 6389300613, 8543836062 पर सम्पर्क कर सकते हैं।
उन्होने बताया कि संचालित योजनाओं में पं0 दीनदयाल उपाध्याय स्वरोजगार योजना (स्वतः रोजगार योजना) अन्तर्गत अनुसूचित जाति के ऐसे परिवार जिनकी वार्षिक आय ग्रामीण क्षेत्र में 46080 रूपये एवं नगरीय क्षेत्र में रूपये 56460 से अधिक न हो, उन्हें आत्मनिर्भर बनाने हेतु संचालित है। इस योजनान्तर्गत अनुसूचित जाति के व्यक्तियों को उद्योग/व्यवसाय संचालित करने हेतु बैंकों के माध्यम से ऋण उपलब्ध कराया जाता है। ग्रामीण क्षेत्र में विकासखण्ड में कार्यरत ग्राम विकास अधिकारी/सहायक विकास अधिकारी समाज कल्याण एवं नगरीय क्षेत्र में सहायक प्रबन्धक द्वारा आवेदन पत्र तैयार कर बैंकों में प्रेषित किया जाता है। बैंक द्वारा ऋण स्वीकृति उपरान्त रूपये 10000 अनुदान व रूपये 50000 से अधिक की योजनाओं में योजना लागत का 25 प्रतिशत भाग 04 प्रतिशत वार्षिक व्याज दर पर मार्जिन मनी ऋण तथा शेष धनराशि बैंक ऋण के रूप में उपलब्ध कराया जाता है।
टेलरिंग शाप योजना अनु0 जातियों के युवक/युवतियों को उद्यमी बनाकर उन्हें स्वावलम्बी बनाने हेतु संचालित है। जिसकी योजना लागत 20000 रू0 है, जिसमें रू0 10000 अनुदान एवं रू0-10000 बिना ब्याज का ऋण होता है। ऋण की अदायगी लाभार्थी द्वारा 36 समान मासिक किस्तों में करनी होती है।
नगरीय क्षेत्र दुकान निर्माण योजनान्तर्गत ऐसे अनु0 जाति के परिवार जिनके पास 13.32 वर्गमीटर व्यवसायिक स्थल पर भूमि उपलब्ध हो, उन्हें स्वयं द्वारा दुकान निर्माण कराने हेतु दो किस्तों में (58500$19500) कुल 78000 रूपये उनके खाते में भुगतान कर दुकान का निर्माण कराया जाता है, जिसमें रूपये 10000 अनुदान एवं रूपये 68000 बिना ब्याज का ऋण होता है। जिसकी अदायगी 120 समान मासिक किस्तों में लाभार्थी द्वारा की जाती है।
लाण्ड्री एवं ड्राईक्लीनिंग योजना की लागत 216000 रूपये तथा 100000 रूपये है। जिसमें क्रमशः रुपये 10000 अनुदान एवं 206000 तथा 90000 रुपये बिना ब्याज का ऋण उपलब्ध कराया जाता है, जिसकी अदायगी 60 समान मासिक किस्तों से करनी होती है। ऋण अदायगी के क्रम में आवेदक से एक सरकारी सेवक की गारन्टी भी ली जाती है।
बैंकिंग करेस्पाण्डेन्ट योजनान्तर्गत अनु0 जाति के युवक/युवतियों को स्वावलम्बी बनाने एवं उन्हें बैंक मित्र बनाकर बैंकिंग सेवा प्रदान करने हेतु रूपये 100000 उपलब्ध कराया जाता है, जिसमें रूपये 10000 अनुदान एवं रूपये 65000 ब्याजमुक्त ऋण व 25000 रूपये 4 प्रतिशत वार्षिक ब्याज दर पर उपलब्ध कराया जाता है।
भारत सरकार द्वारा संचालित प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना (पीएमएजीवाई) का उद्देश्य 50 प्रतिशत से अधिक अनुसूचित जाति की जनसंख्या वाले ग्रामों का सर्वांगीण विकास करना है। इस योजनान्तर्गत जिन ग्रामों में अनुसूचित जाति की जनसंख्या 50 प्रतिशत से अधिक है, भारत सरकार द्वारा उनका चयन किया जाता है। आदर्श ग्राम तक ऐसी सकल्पना है, जिसमें लोगों को विभिन्न बुनियादी सेवायें देने की परिकल्पना की गई है। ताकि समाज के सभी वर्गों की आवश्यकताओं की पूर्ति हो तथा असमानतायें कम से कम हो। इस योजनान्तर्गत चयनित ग्रामों में गैप फिलिंग (अन्तर पाटन) का कार्य कराया जाता है। योजनान्तर्गत तैयार ग्राम विकास योजना (वीडीपी) के ग्राम स्तरीय अभिसरण समिति एवं जिला स्तरीय अभिसरण समिति के अनुमोदनोपरान्त प्रति ग्राम रूपये 20 लाख (बीस लाख) प्राप्त होता है, जिससे गैप फिलिंग के अवसंरचनात्मक कार्यों को कराया जाता है तथा शेष लाभार्थीपरक आवश्यकताओं का कार्य अभिसरण के माध्यम से सम्बन्धित विभागों द्वारा कराया जाता है।
——-जि0सू0का0 आजमगढ़-30.04.2022——–