मैनपुरी। जिले में सगाई के बाद दुल्हन शादी के मंडप में दूल्हे को वरमाला पहनाने के सपने बुनती रही। अचानक एक खबर ने उसके सपनों को बिखेर दिया। शिक्षक दूल्हे की तरफ से फरमान आया था, कार नहीं तो शादी नहीं। इसके बाद घर में मातम सा माहौल हो गया। बेटी को विदा करने के पिता के सपने एक पल में टूट गए। मामला किशनी थाना क्षेत्र के एक मोहल्ले का है। पिछले वर्ष यहां के रहने वाले एक युवक ने अपनी बेटी की शादी शहर कोतवाली क्षेत्र के गाड़ीवान मोहल्ले के रहने वाले विवेक त्रिपाठी के साथ तय की। विवेक शिक्षक के पद पर कार्यरत है। बात पक्की हो गई और सगाई की तारीख तय कर दी गई।
दोनों पक्षों की तरफ से तैयारियां शुरू कर दी गईं। तय तारीख 11 मई 2022 के दिन धूमधाम से दोनों की सगाई की गई। बेटी के पिता ने भी दामाद पक्ष का जोरदारी से स्वागत किया। अब सगाई के बाद शादी की तारीख निकाली गई। 13 दिसंबर 2022 के दिन शुभ मुहूर्त पर शादी होना तय हुआ। इसके बाद दोनों पक्ष शादी की तैयारियों में जुट गए। अब तक सब ठीक चल रहा था। लोग खुश थे। रिश्तेदारों में शादी की तारीख बता दी गई और शादी में आने का न्योता भी दे दिया गया। अब शादी में महज कुछ दिन शेष थे। एक दिन लड़की के पिता के फोन की घंटी बजी। मोबाइल देखा तो होने वाले दामाद का फोन था। खुशी-खुशी फोन उठाया लेकिन सामने से आई आवाज ने थोड़ा मायूस कर दिया। उन्हें शादी में लेन-देन के लिए कुछ बात करने के लिए मैनपुरी बुलाया गया था।