दर-दर भटकने को मजबूर है अन्नदाता

रिपोर्ट- आशा राम वर्मा, अम्बेडकरनगर

अम्बेडकर नगर अन्नदाताओं को पहले धान बेचने के लिए पापड़ बेलने पड़े तो अब वही भुगतान के लाले पड़ गए हैं।
जिले में धान खरीद कर चुके कई एजेंसियों ने किसानों का तकरीबन 30 करोड़ रुपए दबाए बैठी हैं

विभागीय अधिकारियों द्वारा बताया जा रहा है कि सरकार ने इन क्रय एजेंसियों से धनराशि वापस ले ली है अब किसानों को भुगतान के लिए काफी लंबा इंतजार करना पड़ेगा जिले में 1 नवंबर से धान खरीद शुरू हुई थी लेकिन औपचारिक रूप से खरीद 15 नवंबर के बाद से ही शुरू हुई इसके लिए 6 एजेंसियों के कुल 95 क्रय केंद्र बनाए गए थे सरकारी आंकड़ों में लंबी चौड़ी खरीद दिखा दी गई लेकिन वास्तविक किसान इससे महरूम रह गए
किसान ओमप्रकाश व राजा आज का कहना है कि 1 महीने तक तकरीबन धान बेचे हो गया मैसेज भी आ गया लेकिन भुगतान नहीं मिल रहा है|

जिला खाद्य विपणन अधिकारी अजीत कुमार सिंह का कहना है कि जिले में कुल तकरीबन तीन हजार किसानों का लगभग 30 करोड़ रुपये बकाया है सरकार ने भुगतान के नियमों में कुछ बदलाव किया है जिसके लिए क्रय एजेंसियों के अधिकारियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है सरकार ने क्रय एजेंसियों को दी गई धनराशि वापस ले ली है इससे भुगतान में कुछ हो रहा है।